भूमि पूजन समारोह के मंच पर प्रधानमंत्री के साथ केवल चार अन्य लोग रहेंगे मौजूद-चंपत राय

135 संतों को दिया गया न्योता, निमंत्रण पत्र पर सिक्योरिटी कोड एक ही बार करेगा काम -भूमि पूजन पर रामलला को हरा वस्त्र पहनाने पर सवाल उठाने वालों पर किया पलटवार रामनगरी में भव्य राम मंदिर निर्माण के लिए पांच अगस्त को होने वाले भूमि पूजन की तैयारियों को तेजी से अन्तिम रूप दिया जा […]

भूमि पूजन समारोह के मंच पर प्रधानमंत्री के साथ केवल चार अन्य लोग रहेंगे मौजूद-चंपत राय
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| Edited By: | Updated on: Aug 03, 2020 | 7:39 PM

135 संतों को दिया गया न्योता, निमंत्रण पत्र पर सिक्योरिटी कोड एक ही बार करेगा काम -भूमि पूजन पर रामलला को हरा वस्त्र पहनाने पर सवाल उठाने वालों पर किया पलटवार

रामनगरी में भव्य राम मंदिर निर्माण के लिए पांच अगस्त को होने वाले भूमि पूजन की तैयारियों को तेजी से अन्तिम रूप दिया जा रहा है.वहीं सोमवार शाम को श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने एक संवाददाता सम्मेलन में बताया कि भूमि पूजन के दिन प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की ओर से रामलला पर डाक टिकट भी जारी किया जाएगा.प्रधानमंत्री श्री राम जन्मभूमि में पौधरोपण भी करेंगे.

प्रधानमंत्री के साथ भूमि पूजन समारोह के मंच पर सिर्फ चार और लोग होंगे.इनमें राज्यपाल आनंदीबेन पटेल, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सरसंघचालक मोहन भागवत और श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र न्यास के अध्यक्ष महंत नृत्य गोपाल दास हैं.जहां मंदिर का गर्भगृह तैयार होना है, 05 अगस्त को उस स्थान पर पूजा होगी.एक शिलापट का अनावरण भी होगा।

उन्होंने बताया कि कई संत अयोध्या पहुंच गए हैं.परमानंद महाराजा आ गए हैं.वीएचपी के प्रबंध समिति के सदस्य दिनेश चंद्र आ गए हैं.हरिद्वार से भी अखाड़ों के कई महंत आ गए हैं.कल शाम तक सभी लोग आ जाएंगे.संघ प्रमुख मोहन भागवत, सरकार्यवाह सुरेश भैयाजी जोशी और दूसरे पदाधिकारी भी कल रात तक आ जाएंगे.

चंपत राय ने बताया कि हमने इस आयोजन में भारत के लगभग 36 आध्यात्मिक परंपराओं के 135 संतों को निमंत्रण भेजा है.महात्मा संतों को मिलाकर लगभग पौने दो सौ लोगों को निमंत्रण भेजा गया है.हमने इकबाल अंसारी और लावारिस शवों को उनके धर्मानुसार अंतिम संस्कार करने वाले फैजाबाद निवासी पद्म श्री मोहम्मद शरीफ को भी निमंत्रण भेजा है.नेपाल के संत भी आयोजन में शामिल होंगे.जनकपुर का बिहार, यूपी, अयोध्या से रिश्ता है.जानकी मंदिर के महंत आएंगे.

हमने अयोध्या में रहने वाले उन परिवार के सदस्यों को बुलाया हैं, जिनके परिवार के बच्चे गोली से मारे गए.सिख, बौद्ध, आर्यसमाजी, जैन, शैव, वैष्णव सब परम्परा के लोग भूमि पूजन में आ रहे हैं.जिन्हें नहीं बुलाया जा सका, उन्हें व्यक्तिगत फोन कर माफी मांगी है.आयु का भी ध्यान रखा है.90 साल के व्यक्ति कैसे आ पाएंगे.भाजपा के वरिष्ठ नेता लालकृष्ण आडवाणी के भी नहीं आने की वजह उनकी उम्र बतायी गई.उन्होंने कहा कि जो साधु सन्यासी चतुर्मास में नहीं आ सकते उनके नाम भी हमने हटाए हैं.लेकिन, सबसे आदरपूर्वक फोन पर बात की है.आ पाएंगे या नहीं.लोगों ने आयु, आने का माध्यम और चतुर्मास कारण बताएं हैं.

महासचिव चंपत राय ने बताया कि पुलिस के मांगने पर पहचान पत्र दिखाना होगा.किसी प्रकार का वाहन पास जारी नहीं किया गया है.निमंत्रण पत्र अहस्तांतरणीय है.निमंत्रण पत्र पर सिक्योरिटी कोड है और वह एक ही बार काम करेगा.कार्यक्रम में मोबाइल और अन्य इलेक्ट्रॉनिक उपकरण ले जाने की अनुमति नहीं होगी.हर एक कार्ड के नम्बर की सूची पुलिस को गेट पर दी जाएगी.नम्बर और नाम क्रॉस चेक होगा तभी एंट्री मिलेगी.निमंत्रण कार्ड अयोध्या में बांटने शुरू कर दिए हैं.पहले उन लोगों को दे रहे हैं जिनका निवास अयोध्या में ही है.जैसे जैसे लोग बाहर से आएंगे उन्हें उनका कार्ड सौंपा जाएगा।

उन्होंने भूमि पूजन के दिन रामलला को हरे रंग का वस्त्र पहनाए जाने पर इसे इस्लाम से जोड़ने पर नाराजगी जताते हुए कहा कि भगवान हरे रंग के कपड़े पहनेंगे, इस पर भी विवाद किया जा रहा है.इसका प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री या ट्रस्ट से कोई संबंध नहीं है.पुजारी तय करते हैं कि किस दिन किस रंग के कपड़े हों.यह परम्परा चली आ रही है.हरे रंग पर विवाद पैदा करने वाले महामूर्ख हैं.यह वही लोग हैं जिन्हें प्रधानमंत्री मोदी का इतना भय है कि इन्हें रात में नींद भी नहीं आती.हरा रंग समृद्धि का प्रतीक है, हरियाली का खुशहाली का प्रतीक है.रंग के ऊपर चर्चा करना बुद्धि की विकलांगता का प्रतीक है.जिनके पार्कों में हरियाली नहीं होती, वह मकान की छतों पर गमला रखकर हरियाली की कोशिश करते हैं.यह हिन्दुस्तानी की समृद्धि का प्रतीक है.

संवाददाता सम्मेलन के दौरान उन्होंने बताया कि एक करोड़ रुपये आज ट्रस्ट के अकाउंट में महाराष्ट्र से आया है.जो स्लिप हमारे पास आई है, उसमें शिवसेना लिखा है.उन्होंने कहा कि विकास प्राधिकरण में 70 एकड़ की जमीन का पूरा नक्शा पास कराया जाएगा.उसकी फीस हम चेक के द्वारा अदा करेंगे.हमें छूट नहीं चाहिए, ये देश के भविष्य का भी काम है और भगवान का भी काम है.1996 में हमने सपने में भी नहीं सोचा था कि भगवान को 70 एकड़ जमीन मिलेगी.मौलिक मॉडल वैसा ही रहेगा.पत्थर तराश कर कार्यशाला में रखे हैं वह पहले इस्तेमाल होंगे.जब यह बन जाएगा तब लम्बाई में एक गुंबद और ऊंचाई में एक फ्लोर की वृद्धि की जाएगी.

हिन्दुस्थान समाचार/संजय/राजेश